रामनाथ कोविंद जीवनी - Biography of Ram Nath Kovind in Hindi Jivani Published By : Jivani.org रामनाथ कोविंद एक दलित नेता और साथ ही भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के सदस्य भी है। सन 2015 से 2017 तक रामनाथ कोविंद बिहार के गवर्नर भी रहे चुके है। 19 जून 2017 को बीजेपी के पार्टी अध्यक्ष अमित शाह ने कोविंद जी जो राष्ट्रपति पद के लिए NDA का उम्मेदवार घोषित किया। और 20 जुलाई 2017 को रामनाथ कोविंद जी भारत के राष्ट्रपति बन गए। रामनाथ कोविंद का जन्म एक अक्टूबर 1945 को उत्तर प्रदेश के कानपुर देहात में हुआ था. कोविंद ने कानपुर यूनिवर्सिटी से बीकॉम और एलएलबी की पढ़ाई की है. गवर्नर ऑफ बिहार की वेबसाइट के मुताबिक कोविंद दिल्ली हाई कोर्ट में 1977 से 1979 तक केंद्र सरकार के वकील रहे थे. 1980 से 1993 तक केंद्र सरकार के स्टैंडिग काउंसिल में थे. दिल्ली हाई कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट में इन्होंने 16 साल तक प्रैक्टिस की. 1971 में दिल्ली बार काउंसिल के लिए नामांकित हुए थे. 1994 में कोविंद उत्तर प्रदेश से राज्यसभा के लिए सांसद चुने गए. वह 12 साल तक राज्यसभा सांसद रहे. वे कई संसदीय समितियों के सदस्य भी रहे हैं. सक्रिय सांसद रहे कोविंद गवर्नर्स ऑफ इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ मैनेजमेंट के भी सदस्य रहे हैं. 2002 में कोविंद ने संयुक्त राष्ट्र के महासभा को संबोधित किया. कोविंद ने कई देशों की यात्रा भी की है. कोविंद की पहचान एक दलित चेहरे के रूप में अहम रही है. छात्र जीवन में कोविंद ने अनुसूचित जाति, जनजाति और महिलाओं के लिए काम किया. 12 साल की सांसदी में कोविंद ने शिक्षा से जुड़े कई मुद्दों को उठाया. ऐसा कहा जाता है कि वकील रहने के दौरान कोविंद ने ग़रीब दलितों के लिए मुफ़्त में क़ानूनी लड़ाई लड़ी. कोविंद की शादी 30 मई 1974 को सविता कोविंद से हुई थी. इनके एक बेटे प्रशांत हैं और बेटी का नाम स्वाति है. राजनीति 2016 में बिहार में कोविंद प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी के साथ एक समारोह में एक पुल का उद्घाटन करते हुए। H.E the Governor of Bihar Shri Ram Nath Kovind welcoming Hon'ble President of india Shri Pranab Mukherjee at Patna on April 17,2017 17 अप्रैल, 2007 में बिहार के राज्यपाल श्री राम नाथ कोविन्द भारत के माननीय राष्ट्रपति श्री प्रणव मुखर्जी का पटना में स्वागत करते हुए वर्ष १९९१ में भारतीय जनता पार्टी में सम्मिलित हो गये। वर्ष १९९४ में उत्तर प्रदेश राज्य से राज्य सभा के लिए निर्वाचित हुए। वर्ष २००० में पुनः उत्तरप्रदेश राज्य से राज्य सभा के लिए निर्वाचित हुए। इस प्रकार कोविन्द लगातार १२ वर्ष तक राज्य सभा के सदस्य रहे। वह भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता भी रहे। राष्ट्रपति सत्ताधारी राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन द्वारा १९ जून २०१७ को भारत के राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार घोषित किये गए। भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने प्रेस कांफ्रेंस करके उनकी उम्मीदवारी की घोषणा की, अमित शाह ने कहा कि रामनाथ कोविंद दलित समाज से उठकर आये हैं और उन्होंने दलितों के उत्थान के लिए बहुत काम किया है, वे पेशे से एक वकील हैं और उन्हें संविधान का अच्छा ज्ञान भी है इसलिए वे एक अच्छे राष्ट्रपति साबित होंगे और आगे भी मानवता के कल्याण के लिए काम करते रहेंगे। २० जुलाई २०१७ को राष्ट्रपति के निर्वाचन का परिणाम घोषित हुआ जिसमें कोविंद ने यूपीए की प्रत्याशी मीरा कुमार को लगभग ३ लाख ३४ हजार वोटों के अंतर से हराया। कोविंद को ६५॰६५ फीसदी वोट हासिल हुए।भारत के १३ वे राष्ट्रपति प्रणव मुखर्जी के पश्चात २५ जुलाई २०१७ को भारत के १४ वे राष्ट्रपति के रूप में कोविंद ने शपथ ग्रहण की। राम नाथ कोविंद से जुड़ी कुछ रोचक जानकारियाँ राम नाथ कोविंद का जन्म कानपुर देहात के परौख गाँव के एक मध्यम-वर्गीय परिवार में हुआ था। जिस गाँव में कोविंद का जन्म हुआ था वह ब्राह्मण एवं ठाकुर बाहुल्य इलाका था जहाँ सिर्फ चार दलित घर थे। कोविंद के पिताजी परौख गाँव के चौधरी थे। वो एक प्रख्यात वैद्य भी थे। उनके पास एक करियाना और वस्त्र की दूकान भी थी। राम नाथ कोविंद बचपन से ही एक होनहार विद्यार्थी थे। कानपुर देहात से अपनी प्राथमिक शिक्षा अर्जित करने के उपरांत वे कानपुर चले गए जहाँ कानपुर विश्वविद्यालय से उन्होंने कॉमर्स और कानून में स्नातक किया। स्नातक करने के बाद कोविंद दिल्ली चले गए जहाँ वे सिविल सेवा परीक्षा की तैयारी में जुट गए। दिल्ली में उनकी मुलाकात जन संघ के नेता हुकुम चंद (उज्जैन वाले) से हुई जिसके बाद उनका रूझान राजनीति की तरफ हो गया। कोविंद ने अपने पेशे की शुरुआत एक वकील के तौर पर की। 1971 में वे दिल्ली बार काउंसिल के सदस्य बने। 1977 से 1979 तक कोविंद ने दिल्ली उच्च न्यायलय में बतौर एडवोकेट कार्य किया। इसी अवधि के दौरान वे तत्कालीन प्रधानमंत्री मोरारजी देसाई के निजी सहायक भी रहे। 1978 में वे सुप्रीम कोर्ट के एडवोकेट-ऑन-रिकॉर्ड बने। 1980 से 1993 तक उन्होंने सुप्रीम कोर्ट में बतौर केंद्रीय सरकार के स्थाई अभिवक्ता का कार्य किया। 8 अगस्त को वे बिहार के 36 वें राज्यपाल बने। 19 जून 2017 को एन० डी० ए० द्वारा राष्ट्रपति पद के लिए नामित किए गए। 25 जुलाई 2017 को राम नाथ कोविंद ने भारत के चौदहवें राष्ट्रपति के तौर पर पद और गोपनीयता की शपथ ली। ( 10 ) 9 Votes have rated this Naukri. Average Rating is 3