श्रीराम शंकर अभ्यंकर की जीवनी - Biography of Shriram Shankar Abhyankar in hindi jivani Published By : Jivani.org नाम : श्रीराम शंकर अभ्यंकर जनम तिथी : 22 जूलाई 1930 ठिकाण : उजैन, भारत व्यावसाय : प्रोफेसर प्रारंभिक जीवनी : श्रीराम शंकर अभ्यंकर एक भारतीय अमेरीकि गणितज्ञ थे | वह कंम्प्यूटर विज्ञान और औघोगिक इंजिनियरिंग के प्रोफेसर भी थे | उन्हें बीजगणित जयामिती मे उनके योगदान के लिए जाना जाता था | श्रीराम शंकर अभ्यंकर का जनम भारत मे उत्तरप्रेदश राजया के उ्जैन शहर मे सन 22 जुलाई 1930 केा हुआ था | उन्होंने सन 1951 मे मुंबई विश्वाविध्यालय से बीएससी कि उपाधि प्राप्त कि थी | सन 1952 मे उन्होंने हार्वर्ड यूनिवर्सिटी से एएम कि उपाधि प्राप्ता कि थी | 1955 मे उन्होंने ऑस्कर जारिकी के मार्गदर्शन मे अपनी पीएचडी हार्वर्ड विश्वाविध्यालय से प्राप्ता कि थी | उनकी थीसिस कि मॉडयूल्र ग्राउंड फील्डस पर बीजीय सतहो पर स्थानीय एकरुपता का शीर्षक दिया गया था | कार्य : अभ्यंकर ने कॉर्नेल विश्वाविघ्यालय और जॉन्सा विश्वाविघ्यालय मे गणित के एसोसिएट प्रोफेसर के रुप मे काम किया है | सन 1967 मे उन्हेांने उडर्यू मे गणित् के मार्शल विशिष्ट प्रोफेसर के रुप मे कार्य किया था | उन्होंने बडे पैमाने पर बीजगणितीय जयामिती मे जैसी कि कम्यूटेटिव बीजगणित स्थानीय बीजगणित कि है | इसके अलावा अभ्यांकर ने कई जटिल चर, क्वांटन इलेक्ट्रोडयनामिक्सा सर्किट सिध्दांत अपरिवर्तनीय सिध्दांत कॉम्बिनेटिक्सा कंम्प्यूटर एडेड डिझााइन और रेाबोटिक्सा के कार्यो का सिध्दांत पर महत्वापूर्ण भूमिका से कार्य किया है | प्रोफेसर अभ्यांकर ने जैकबियन अनूमान को लोकप्रिय बनाया था | उपलब्धि : पूरस्कार और सम्मान : 1) 1973 मे अभ्यंकर को पडर्यू विश्वाविघ्यालय से हर्बर्ट ब्यूषी मैककॉय पूरस्कार मिला था | 2) वह इंडियन अकॅडमी ऑफ साइंस के फेलो थे | 3) वह इंडियन जर्नल ऑफ प्योर एंड एप्लाइड मैथमेटिक्सा के संपादकिया बोर्ड के सदस्या थे | 4) 1978 मे उन्हेां चौवेनट पूरस्कार मीला था | 5) सन 2012 मे प्रो अभ्यांकर अमेरिकन मैथमैटिकल सोसाइटी के साथी थे | पुस्तके/ग्रंथ : 1) 1967 के प्रकाशित :उचच एम्बेडिंग आयाम के स्थानीय रिंग्स| 2) 1977 बीजीय जयामिती मे विस्तार तकनीकों पर व्याख्यान | ( 20 ) 0 Votes have rated this Naukri. Average Rating is 0